NCERT Solutions for Class 10 Hindi, including Kshitij.This page provides the NCERT Solutions for Class 10 Hindi, covering the texts Kshitij, Kritika, Sparsh, and Sanchayan.
Class 10 Hindi Question and Answer – NCERT Solutions for Class 10 Hindi
NCERT Solutions for Class 10 Hindi Kshitij Part 2
Poetry Section
Chapter Number | Chapter Title |
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Chapter 1 | पद |
Chapter 2 | राम-लक्ष्मण-परशुराम संवाद |
Chapter 3 | सवैया और कवित्त |
Chapter 4 | आत्मकथ्य |
Chapter 5 | उत्साह और अट नहीं रही |
Chapter 6 | यह दंतुरहित मुस्कान और फसल |
Chapter 7 | छाया मत छूना |
Chapter 8 | कन्यादान |
Chapter 9 | संगतकार |
Prose Section
Chapter Number | Chapter Title |
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Chapter 10 | नेताजी का चश्मा |
Chapter 11 | बालगोबिन भगत |
Chapter 12 | लखनवी अंदाज़ |
Chapter 13 | मानवीय करुणा की दिव्या चमक |
Chapter 14 | एक कहानी यह भी |
Chapter 15 | स्त्री शिक्षा के विरोधी कुतर्कों का खंडन |
Chapter 16 | नौबतखाने में इबादत |
Chapter 17 | संस्कृति |
NCERT कक्षा 10 हिंदी पाठ 1 – पद (सूरदास) के प्रश्न एवं उत्तर
पाठ से जुड़े प्रश्न:
प्रश्न 1. गोपियों द्वारा उद्धव को भाग्यवान कहने में क्या व्यंग्य निहित है?
उत्तर: गोपियों द्वारा उद्धव को भाग्यवान कहने में व्यंग्य है। वे सीधे तौर पर तो प्रशंसा कर रही हैं, लेकिन असल में कहना चाह रही हैं कि उद्धव बड़े अभागे हैं। उन्हें कृष्ण के प्रेम का अनुभव नहीं हुआ। वे किसी से प्रेम नहीं कर पाए और न ही किसी का प्रेम पा सके। प्रेम की खुशी का अनुभव न कर पाना ही उनका दुर्भाग्य है।
प्रश्न 2. उद्धव के व्यवहार की तुलना किस-किस से की गई है?
उत्तर: उद्धव के व्यवहार की तुलना दो चीजों से की गई है:
- कमल का पत्ता: कमल का पत्ता पानी में रहता है, लेकिन गीला नहीं होता। उसी तरह उद्धव, कृष्ण के पास रहते हुए भी उनके प्रेम से अछूते रहे।
- तेल में डूबी गागर: तेल में डूबी गागर को पानी में डुबोने पर भी वह गीली नहीं होती। इसी तरह उद्धव, कृष्ण के प्रेम के सागर में रहते हुए भी उससे प्रभावित नहीं हुए।
प्रश्न 3. गोपियों ने किन-किन उदाहरणों के माध्यम से उद्धव को उलाहने दिए हैं?
उत्तर: गोपियों ने उद्धव को कई उदाहरणों से उलाहना दिया है, जैसे:
- वे अपने मन में छिपे प्रेम का इज़हार न कर पाना।
- कृष्ण के आने की आस और उम्मीद टूट जाना।
- रक्षा और प्रेम का संदेश पाने की आशा, लेकिन योग का संदेश मिलना।
- कृष्ण से प्रेम-मर्यादा की अपेक्षा, लेकिन योग-संदेश भेजकर उसका उल्लंघन करना।
प्रश्न 4. उद्धव द्वारा दिए गए योग के संदेश ने गोपियों की विरहाग्नि में घी का काम कैसे किया?
उत्तर: श्रीकृष्ण के मथुरा चले जाने के बाद, गोपियाँ पहले से ही विरह की आग में जल रही थीं। वे कृष्ण के प्रेम-संदेश और उनके आने की प्रतीक्षा कर रहीं थी। ऐसे में श्रीकृष्ण ने उन्हें योग साधना का संदेश भेजा, जिससे उनकी व्यथा कम होने के बजाय और भी बढ़ गई। योग का संदेश प्रेम की आग को कम करने के बजाय और भड़काने वाला था।
प्रश्न 5. ‘मरजादा न लही’ के माध्यम से कौन-सी मर्यादा न रहने की बात की जा रही है?
उत्तर: ‘मरजादा न लही’ के माध्यम से प्रेम की मर्यादा न निभाने की बात की जा रही है। प्रेम की मर्यादा यह है कि प्रेमी और प्रेमिका दोनों एक-दूसरे के प्रति वफादार रहें और प्रेम की सच्ची भावना को समझें। लेकिन कृष्ण ने गोपियों से प्रेम कायम रखने के बजाय उन्हें नीरस योग का संदेश भेज दिया, जो उनके प्रेम के साथ छल और धोखा था।
प्रश्न 6. कृष्ण के प्रति अपने अनन्य प्रेम को गोपियों ने किस प्रकार अभिव्यक्त किया है?
उत्तर: गोपियों ने कृष्ण के प्रति अपने अनन्य प्रेम को कई तरह से प्रकट किया है, जैसे:
- उनका कहना है कि वे कृष्ण से दूर रहने पर भी उनसे उसी तरह चिपटी रहती हैं, जैसे गुड़ से चिपटी चींटियां।
- वे कृष्ण को हारिल की लकड़ी मानती हैं, जिस तरह हारिल पक्षी उसी लकड़ी के सहारे उड़ता है, वैसे ही कृष्ण ही उनका आधार हैं।
- वे कृष्ण के प्रति मन, कर्म और वचन से समर्पित हैं।
- वे सोते-जागते, हर समय कृष्ण का नाम जपती हैं।
- उनके लिए योग का संदेश कड़वी ककड़ी के समान है, जिसे वे स्वीकार नहीं कर सकतीं।